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Kaalsarp Dosha

कालसर्प दोष क्या है?

ज्योतिष शास्त्रों के अनुसार जातक के पूर्व जन्मों के किसी अपराध का दंड के परिणाम स्वरुप उसकी कुंडली में बनता है। जन्म कुण्डली में राहु और केतु के विशेष स्थिति में होने पर कालसर्प दोष बनता है। कुंडली के सप्तम भाव में केतु ग्रह विराजमान है और लग्न भाव में राहु विराजमान हो तथा बाकी ग्रह राहु-केतु के एक ओर स्थित हों तो कालसर्प दोष बनता है।

कालसर्प दोष का प्रभाव

ज्योतिष शास्त्रों के अनुसार कालसर्प दोष से प्रभावित जातक की तबियत अक्सर ख़राब बनी रहती है। कालसर्प दोषसे प्रभावित जातक को बिज़नेस में नुकसान और आर्थिक रूप से समस्या आती है। कालसर्प दोषसे पीड़ित जातक को बिज़नेस में धोखा भी मिल सकता है।

कालसर्प दोष के उपाय

  • कालसर्प दोषके निवारण के लिए प्रत्येक सोमवार के दिन शिवलिंग पर दूध और धतूरा चढ़ाएं और "ॐ नमः शिवाय मंत्र" का जाप भी करें।
  • यदि जातक किसी बीमारी से पीड़ित रहते हैं तो महामृत्युंजय मंत्र का जाप करें तो कालसर्प दोषसमाप्त होता है।
  • कालसर्प दोष से प्रभावित जातक को कुत्ते को दूध रोटी खिलानी चाहिए।
  • कालसर्प योग के निवारण हेतु प्रत्येक संक्रांति को गंगाजल का घर में छिड़काव करें।
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